मध्य प्रदेश के जबलपुर में एक अजीब घटना हुई है. यहां सात साल पहले एक नाइजीरियन को शादी के नाम पर ठगी के मामले में अरेस्ट किया गया था. सजा काट कर यह नाइजीरियन बाहर तो आ गया, लेकिन अब कह रहा है कि वह अपने देश नहीं जाएगा. बल्कि यहीं भारत में रहेगा और यहां की ही किसी लड़की से शादी रचाकर नया जीवन शुरू करेगा. चूंकि इस तरह की व्यवस्था भारत के किसी कानून में नहीं है. ऐसे में जबलपुर पुलिस दुविधा में पड़ गई है कि इसका क्या जाए.
पुलिस की दूसरी मुश्किल यह है कि इसका वीजा भी खत्म हो चुका है. ऐसे में अब पुलिस ने विदेश मंत्रालय और नाइजीरिया की एंबेसी को सूचित किया है. फिलहाल जबलपुर पुलिस उसे सिविल लाइंस थाने में ही बैठाकर खातिरदारी कर रही है. जबलपुर पुलिस के मुताबिक साल 2018 में नाइजीरियन मूल के युवक जॉन उर्फ ब्राउनी को अरेस्ट किया गया था. उसी समय से यह जबलपुर की नेताजी सुभाष चंद्र बोस सेंट्रल जेल में बंद था. इसके ऊपर आरोप था कि एक मेट्रोमोनियल साइट के जरिए एक महिला को जाल में फंसाया और 17 लाख रुपये की ठगी कर ली.
कहा- भारत की अर्थव्यवस्था बाकियों से अच्छी
उस महिला की शिकायत पर पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी को दिल्ली से अरेस्ट किया, लेकिन अब सजा पूरी होने के बाद पता चला कि इसका वीजा एक्सपायर हो गया है. ऐसे में पुलिस की मुश्किल यह हो गई कि अब इसे नाइजीरिया कैसे भेजे. यही नहीं, जेल से बाहर आने के बाद ब्राउनी ने भारत की सभ्यता, संस्कृति की बड़ाई करते हुए कहा कि ऐसा देश दुनिया में कोई और नहीं. उसने ऐलान किया है कि वह भारत छोड़ कर कहीं नहीं जाएगा. यहीं रहेगा और यहीं किसी लड़की से शादी करके अपना नया जीवन शुरू करेगा.
भारत में ही रहने और ब्याह की जताई इच्छा
नगर पुलिस अधीक्षक ओमती पंकज मिश्रा के मुताबिक ब्राउनी ने दिल्ली में रहकर शादी करने की इच्छा जताई. उसका कहना है कि भारत की अर्थव्यवस्था नाइजीरिया सहित अन्य कई बड़े देशों की तुलना में काफी बेहतर है. जबलपुर की जेल में 7 साल रह कर ब्राउनी अब हिंदी समझने और बोलने लगा है. उसने जबलपुर पुलिस और केंद्र सरकार से आग्रह किया है कि उसे भारत में रहकर नया जीवन शुरू करने की अनुमति दी जाए.
सिविल लाइंस थाने में हो रही खातिरदारी
उन्होंने बताया कि फिलहाल ब्राउनी को सिविल लाइंस थाने में बैठाया गया है और यहीं पर उसकी खातिरदारी भी की जा रही है. इसी के साथ उसके पासपोर्ट वीजा की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गई है. जैसे ही वीजा बनेगा, इसे उसके देश के लिए रवाना कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि चूंकि उसने भारत में रहने की इच्छा जताई है, इसलिए उसकी इच्छा को भी ध्यान में रखा जा रहा है.