गुना : किसी शायर की यह पंक्तियां- आसमां पे बादलों में जाने क्या साज़िश हुई, मेरा घर मिट्टी का था मेरे ही घर बारिश हुई…गुना जिले के लिए अज़ाब साबित हुई हैं। दरअसल, गुना जिले में गुरुवार को हुई भीषण बारिश के चलते कई इलाकों में जन-जीवन प्रभावित हुआ है। पुल-पुलिया खतरे के निशान से ऊपर बहने लगी और रेलवे के लगभग सभी अंडरपास में पानी भरने से आवागमन ठप हो गया। सबसे ज्यादा परेशानी म्याना कस्बे में देखने को मिली। यहां से गुजरे राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित रेलवे के अंडरपास में पानी भरने की वजह से हमेशा की तरह मध्यप्रदेश और उत्तरप्रदेश जाने वाला मार्ग बंद हो गया और अंडरपास के दोनों तरफ वाहनों की लम्बी-लम्बी कतारें लग गईं।
बता दें कि गुना जिले के अधिकांश तहसीलों में गुरुवार सुबह 8.30 बजे से शाम 5.30 बजे तक धुआंधार बारिश हुई है। मौसम विभाग के मुताबिक 9 घंटों के अंतराल में 100 मिलीमीटर यानी 4 इंच और 24 घंटों के दौरान 116 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई। बारिश का असर यह हुआ कि म्याना कस्बे के अधिकांश इलाकों में तालाबनुमा नजारा देखने को मिला। यहां का पावर हाऊस भी जलमग्न हो गया, आंगनबाड़ी केंद्रों के अंदर पानी भर गया, रास्ते पानी से लबालब होने की वजह से जो जहां था वहीं थमकर रह गया।
सर्वाधिक असर रेलवे अंडर पर दिखाई दिया। जिसमें पानी भरने की वजह से करीब 5 घंटों तक जाम लगा रहा। कई लोग जान जोखिम में डालकर अंडरपास करने की कोशिश में परेशान हुए। जलमग्न अंडरपास को क्रॉस करने के प्रयास में एक लोडिंग वाहन बंद पड़ गया, जिसके चालक को अपने बच्चों सहित पानी में उतरकर दूसरी ओर जाने के लिए मशक्कत करना पड़ी। इससे पहले एक ट्रक भी करीब 3 घंटों तक ब्रिज के अंदर फंस रहा। इसी तरह म्याना से गुजरे रेलवे ट्रक पर पानी भरने की वजह से ट्रेनों का आवागमन भी प्रभावित हुआ।
कई कच्चे घरों में पानी भरने के बाद दुर्घटना की आशंका को देखते हुए सरपंच जयनारायण सोनी, सचिव हरिओम सेन ने पंचायत भवन में लोगों के अस्थाई रूप से ठहरने की व्यवस्था कर दी है। हालांकि वहां पहुंच कोई भी नहीं। हालात का जायजा लेने के लिए नायब तहसीलदार मयंक खेमरिया लगातार प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करते रहे और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी। कुल मिलाकर करीब 24 घंटों से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।