राजस्थान में एक दिल दहला देने वाली घटना ने सभी को हिला कर रख दिया. तीन बेटों ने मिलकर पहले तो अपने पिता, सौतेली मां और बहन की हत्या की, फिर शव को पत्थर से बांधकर पास के एनीकट में फेंक दिया. सौतेली मां छह महीने से प्रेग्नेंट थी. वारदात के बाद पुलिस ने हत्यारोपी दो बेटों को पकड़ लिया, जबकि एक बेटा विदेश भाग गया. गिरफ्तार बेटों से पूछताछ में पता चला कि पिता ने करीब चार साल पहले दूसरी शादी कर ली थी. सौतेली मां जब घर आई तो एक बेटी साथ में लेकर आई, तभी से वह पिता और सौतेली मां से खुन्नस खाए बैठे थे.
यह घटना प्रतापगढ़ जिले के धरियावद उपखंड क्षेत्र के मुंगाना टाडा गांव की है. काफी समय से विधवा विवाह करने को लेकर हत्यारोपी बेटों और समाज द्वारा पिता और सौतेली मां को गांव छोड़ने और जान से मारने की धमकी दी जा रही थी. माता-पिता ने हाई कोर्ट में इसको लेकर गुहार भी लगाई थी. हाई कोर्ट ने पुलिस को दोनों की सुरक्षा की जिम्मेदारी दी थी. अब बेटों द्वारा माता-पिता और बहन की हत्या कर दी है. ऐसे में पुलिस सुरक्षा को लेकर भी सवाल खड़े हो रहे हैं.
छह महीने की गर्भवती थी सौतेली मां
पुलिस ने बताया कि मुंगाना टाडा गांव निवासी सूरजमल लबाना, उनकी पत्नी लच्छी और पांच साल की बेटी की हत्या कर दी गई. हत्या किसी और ने नहीं बल्कि इन्हीं के बेटों ने की. लच्छी सूरजमल की दूसरी पत्नी थी और छह महीने की गर्भवती थी. चार साल पहले सूरजमल से शादी के समय लच्छी अपनी एक बेटी को भी साथ लेकर आई थी. पुलिस ने बताया कि सूचना मिली थी कि सूरजमल, लच्छी और उसकी बेटी की हत्या कर दी गई है.
हत्या करने के बाद एनीकट में फेंक दिया था शव
सूचना पर पुलिस ने चित्तौड़गढ़ से डॉग स्क्वायड की टीम को बुलाया. पुलिस ने तालश की, लेकिन सबसे पहले जब तलाश की तो शव नहीं मिले. इसके बाद जब मृतक सूरजमल के एक बेटे से पूछताछ की गई तो उसने बताया कि भाइयों के साथ मिलकर उसने तीनों की हत्या कर दी और शव को एनीकट में फेंक दिया. आरोपी बेटे की जानकारी के आधार पर पुलिस ने सोमवार को पति-पत्नी और तीन साल की बेटी के शव को एनीकट निकाला और पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया.
शवों में बांधे गए थे 50-50 किलो के पत्थर
पुलिस ने जब शवों को बाहर निकाला तो हैरान रह गई. आरोपी बेटों ने मां, बेटी के शव को 50 किलो के पत्थर से बांधा था और पिता सूरजमल के शव को भी 50 किलो पत्थर से बांधकर एनीकट में फेंका था, जिससे उनके शव ऊपर नहीं आ पाए. वहीं मां और बेटी का शव एक ही पत्थर से बंधा हुआ था, जबकि पिता का शव दूसरे पत्थर से बंधा हुआ था. पुलिस ने बताया कि आरोपी बेटों ने पांच दिन पहले वारदात को अंजाम दिया था. घर पर ही तीनों की हत्या की थी. इसके बाद खून के निशान को अच्छी तरह से साफ किया, फिर पत्थर से बांधकर पास के एनीकट में ही फेंक दिया था.
बेटों ने दी थी जान से मारने की धमकी
जब दो दिनों बाद दंपती आसपास नहीं दिखाई दिए तो क्षेत्र में चर्चा होने लगी. गांव के लोगों ने इसकी सूचना पुलिस को दी. पुलिस भी मौके पर पहुंची. एक बार तो जानकारी जुटा कर चली गई, लेकिन जब हत्या की जानकारी मिली तो पुलिस वापस मौके पर पहुंची और घर की तलाशी ली. घर के अंदर खून के निशान मिले. जांच में सामने आया कि मृतक दंपति द्वारा एक साल पहले मामला दर्ज कराया था कि उनके बेटे द्वारा उन्हें जान से मारने की धमकी दी गई है.
उसी आधार पर पुलिस ने दो बेटे करणी राम और मनीराम को हिरासत में लेकर पूछताछ. पहले तो वह गुमराह करते रहे, लेकिन जब पुलिस ने सख्ती से पूछताछ की तो दोनों ने पूरे हत्याकांड का खुलासा किया. पुलिस को बेटों ने बताया कि हम तीनों भाइयों ने मिलकर ही हत्या की घटना को अंजाम दिया था. हमारा तीसरा भाई दयालराम हत्या के बाद विदेश भाग गया है.
मृतक ने हाई कोर्ट से लगाई थी सुरक्षा की गुहार
पुलिस जांच में ये भी सामने आया कि आरोपियों के पिता सूरजमल लबाना की पहली पत्नी की मौत पांच साल पहले हुई थी, जिसके बाद उन्होंने विधवा लच्छी बाई से 2020 में शादी की थी. सूरजमल की पहली पत्नी के तीन बेटे हैं. विधवा शादी करने से बेटे और समाज के लोग नाराज थे. समाज से बहिष्कार करने का फरमान और 11 लाख रुपए आर्थिक दंड भी सूरजमल पर लगाया गया था. इसके बाद सूरजमल ने बेटों के खिलाफ मामला दर्ज करवाया था और हाई कोर्ट से सुरक्षा की गुहार लगाई थी, जिस पर 2021 में हाई कोर्ट ने प्रतापगढ़ पुलिस को सुरक्षा उपलब्ध करवाने के आदेश भी दिए थे और मामले में उचित कार्रवाई के भी निर्देश दिए थे.