उमरिया। पर्यटन के अंतिम दिन बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के खितौली रेंज में कांटीवाह बाघिन के शावकों ने पर्यटकों को जमकर रोमांचित किया। बाघिन की टेरीटरी वाले क्षेत्र का नाम कांटीवाह है। इसलिए बाघिन का नाम भी कांटीवाह वाली बाघिन हो गया है।
शावक देखते ही देखते पेड़ पर चढ़ गए
अठखेलियां कर रहे यह शावक देखते ही देखते पेड़ पर चढ़ गए और उन्हें देख रहे पर्यटक रोमांचित होकर किलकारियां निकालने लगे। बाघों के लिए विश्व प्रसिद्ध बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में इन शावकों की अठखेलियां देख पर्यटक विभाेर हो गए और उन्हें देर तक ताकते रहे।
खुश नजर आ रहे थे शावक
बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में बाघ, बाघिन, शावकों के मौसम के साथ अंदाज भी बदल जाते हैं। बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में पर्यटक जंगल सफारी के लिए बीटीआर के खितौली जोन में जंगल सफारी में प्राकृतिक सुंदरता के साथ वन्य प्राणियों के दीदार के लिए जंगल में सैर कर रहे थे।
बाघिन कांटीबाह वन मार्ग में बैठी हुई थी
टाइगर रिजर्व के खितौली जोन में बाघिन कांटीबाह वन मार्ग में बैठी हुई थी। दो शावक पेड़ पर अठखेलियां करते हुए पर्यटकों को दिखाई दिए। दोनों शावक पेड़ पर चढ़ रहे थे। शावकों की मां बाघिन कांटी बाह वन मार्ग में बैठकर शावकों की सुरक्षा कर रही थी।
कम दिखाई देता है नजारा
पेड़ पर चढ़कर शावको की अठखेलियां पर्यटकों को बहुत कम ही देखने को मिलती हैं। पर्यटकों के लिए यह बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व का कभी ना भूल पाने वाला नजारा बन गया वीडियो रविवार का बताया जा रहा है। बांधवगढ टाइगर रिजर्व के डिप्टी फील्ड डायरेक्टर पीके वर्मा ने बताया कि कांटीवाह बाघिन की उम्र लगभग 6 वर्ष के करीब होगी। बाघिन के तीन शावक हैं।
शावकों की उम्र लगभग 9 माह के आसपास
डिप्टी फील्ड डायरेक्टर बोले-शावकों की उम्र लगभग 9 माह के आसपास बताई जा रही है। यह बाघिन अपने शावकों के साथ खितौली के जंगलों में दिखाई देती है।