मदिरा प्रेमियों के लिए बुरी खबर! दिल्ली वासियों को अब नहीं मिलेगी शराब, यह है वजह...

 राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में इन दिनों शराब के कुछ ब्रांड नहीं मिल रहे

 
मदिरा प्रेमियों के लिए बुरी खबर! दिल्ली वासियों को अब नहीं मिलेगी शराब, यह है वजह...

दिल्ली में प्रति वर्ष 1.3 करोड़ पेटी की मांग है लेकिन पिछले साल करीब 96 लाख पेटी की ही बिक्री हो पाई।


Liquor will not be available in Delhi: दिल्ली में अंग्रेजी शराब के कई ब्रांड पंजीकृत ही नहीं हैं। कंफेडरेशन ऑफ इंडियन अल्कोहल बेवरेज कंपनीज के महानिदेशक विनोद गिरी कहते हैं कि यदि आंकड़ों को देखते तो दिल्ली में शराब की बिक्री बढ़ी है लेकिन कुछ चुंनिंदा अंग्रेजी के ब्रांड उपलब्ध नहीं हैं। Read  More:- Bra Full Form: क्या आप जानते हैं ब्रा की फुल फाॅर्म?


 
 राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में इन दिनों शराब के कुछ ब्रांड नहीं मिल रहे हैं। जबकि शराब की बिक्री बढ़ रही है जिससे राजस्व में भी इजाफा हो रहा है जबकि गर्मी के बीच बीयर और अंग्रेजी शराब के कई ब्रांड नहीं मिल पा रहे हैं।


बीयर की उपलब्धता को लेकर कहा जा रहा है कि गर्मी के दिनों में सभी राज्यों के अंदर खपत ज्यादा होती है। इसलिए वो अपने यहां उत्पादन करने वाले कंपनियों पर दबाव बनाते हैं कि पहले वो उनके राज्य में आपूर्ति करें, जिससे आपूर्ति प्रभावित हुई है। 

इसकी एक वजह यह भी है कि दिल्ली में अंग्रेजी शराब के कई ब्रांड पंजीकृत ही नहीं हैं।

कंफेडरेशन ऑफ इंडियन अल्कोहल बेवरेज कंपनीज के महानिदेशक विनोद गिरी कहते हैं कि यदि आंकड़ों को देखते तो दिल्ली में शराब की बिक्री बढ़ी है लेकिन कुछ चुंनिंदा अंग्रेजी के ब्रांड उपलब्ध नहीं हैं।


 

उदाहरण के लिए फ्रांस की एक बड़ी मल्टीनेशनल कंपनी है, जिसके काफी ब्रांड पसंद किए जाते हैं लेकिन उसका कोई ब्रांड दिल्ली में नहीं बिक रही है। इसी तरह से कई दूसरे ब्रांड भी हैं। 

इसके पीछे एक कारण यह भी है कि सरकारी 25 लाख रुपये का शुल्क ले रहे हैं। दूसरे सरकारी सिस्टम के तहत बिक्री करने में तमाम तरह की चीजें रहती है, जिसके चलते कई बड़ी कंपनियां बचती भी हैं।

अब दिल्ली में शराब की बिक्री से लेकर सप्लाई तक का सारा काम सरकारी हाथों में है, जिससे कई ब्रांड नहीं आए।

उधर, बीयर की बिक्री की बात करें तो इसके एक कारण यह भी है कि दिल्ली में अभी तक 573 दुकानें खुली है, जिनमें से काफी दुकानों के अंदर फ्रिज रखने की पर्याप्त जगह नहीं है। 

इसकी वजह से इन दुकानों में स्टॉक नहीं है। ये दुकानें केवल सीमित मात्रा में ही स्टॉक रखती हैं। वैसे दिल्ली में अक्सर गर्मी के मौसम में देखा गया है कि बीयर की सप्लाई कम हो जाती है।

इसकी बड़ी वजह यह कि दिल्ली उत्पादक राज्य नहीं है। दूसरे राज्यों से ही आपूर्ति होती है।

अब जिन राज्यों में कंपनियां प्लांट लगाकर बीयर तैयार कर रही हैं तो गर्मी के मौसम में वो राज्य पहले अपने यहां की मांग को पूरा करने के लिए कर रहे हैं।

दिल्ली में प्रति वर्ष 1.3 करोड़ पेटी की मांग है लेकिन पिछले साल करीब 96 लाख पेटी की ही बिक्री हो पाई।